House Rent New Rule: अगर आप भी किराए पर मकान देकर कमाई करते हैं तो ये खबर आपके लिए है। दरअसल सरकार ने किरदारों को लेकर एक अहम फैसला लिया है जिस से मकान मालिक को भारी नुकसान का सामना करना पड़ सकता है। कुछ दिन पहले रेंट एग्रीमेंट को लेकर नियम आया था तो अब राज्य सरकार किराए पर मकान देने वालों के लिए नियमों में बदलाव की तैयारी कर रही है। चलिए जानते हैं इन नियमों को बारीकी से और यह भी जानेंगे इससे किराएदारों और मकान मालिकों पर क्या फर्क पड़ने वाला है
ये राज्य कर रही है तैयारी
आपको बता दें बिहार (Bihar News in Hindi) में सरकार मकानों को लेकर नया नियम लाने की तैयारी में है। खबरों के अनुसार यहां पटना समेत प्रदेश भर के 19 नगर निगमों और अन्य नगर परिषदों में नए सिरे से जीआईएस (जियोग्रोफिकल इंफॉरमेशन सिस्टम) सर्वे की तैयारी की जा रही है। दरअसल अगर आप बिहार में नगर निगम क्षेत्र में रहते हैं और अपने मकान में किरायेदार रखते हैं। तो स्वाभाविक है इससे आप कमाई भी करते हैं तो ऐसे में आपको अतिरिक्त संपत्ति कर सरकार को देना होगा। इसी के साथ आपको होल्डिंग टैक्स भरना पड़ेगा।
इसका सीधा मतलब यह है कि अब आपको एक ही घर को लेकर दो अन्य प्रकार के टैक्स सरकार को देने होंगे। दरअसल अगर कोई व्यक्ति अपने निजी घर का प्रयोग खुद के रहने के साथ-साथ किरायेदारों के लिए भी करता है तो इस कंडीशन में उसे घरेलू के साथ-साथ व्यावसायिक टैक्स भी देना पड़ सकता है।
कब किया जाएगा इस नियम को लागू?
आपको बता दें इसके लिए पटना (Patna News) समेत प्रदेश भर के सभी 19 नगर निगमों सहित अन्य नगर परिषदों में नए सिरे से जियोग्रोफिकल इंफॉरमेशन सिस्टम यानी (GSI) सर्वे की तैयारी कर रही है। इतना ही नहीं इससे संबंधित सर्कुलर भी नगर विकास एवं आवास विभाग की ओर से सभी नगर निकायों को जारी कर दिया गया है।
रेंटल एग्रीमेंट के नियम
रेंटल एग्रीमेंट (Rent Agriment) को लेकर जो नया नियम (Rent New Rule in Hindi) आया था उसमें किराये के समझौते की अवधि के आधार पर दो प्रकार के समझौते बताए गए है। किराया समझौता और पट्टा समझौता। आपको बता दें रेंट एग्रीमेंट 11 महीने की किराया अवधि के लिए तैयार किया जाता है। इसे ‘लीज एवं लाइसेंस समझौता’ भी कहते हैं।